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7.4 का महाभूकंप, लेकिन झेल गया चिली, जानें कैसे

उत्तरी चिली में गुरुवार को तेज भूकंप के झटके महसूस किए गए. यूनाइटेड स्टेट्स जियोलॉजिकल सर्वे के अनुसार उत्तरी चिली में 7.4 तीव्रता का बड़ा भूकंप आया है. भूकंप का केंद्र तटीय शहर एंटोफ़गास्टा से 164 मील (265 किलोमीटर) पूर्व में, 78.5 मील (126 किलोमीटर) की गहराई पर था. चिली के राष्ट्रपति गेब्रियल बोरिक ने एक्स पर लिखा, “अभी तक किसी के घायल होने या बड़े नुकसान की कोई रिपोर्ट नहीं है, लेकिन टीमें जानकारी इकट्ठा कर रही हैं.”

साल 2010 में आया 8.8 भूकंप

साल 2010 में चिली में, 8.8 तीव्रता का भूकंप आया था. जिसके बाद यहां सुनामी आ गई थी. इस सुनामी में देश के दक्षिण और मध्य में बसे गांव बहा गए थे और 520 लोगों की मौत हो गई थी.

बता दें कि हाल ही में फिलीपींस के दक्षिणी हिस्से सुल्तान कुदारत प्रांत में भी 7.0 तीव्रता का भूकंप आया था. यह 722 किलोमीटर की गहराई पर था और तटीय शहर पालेमबांग से लगभग 133 किलोमीटर दक्षिण-पश्चिम में था. ये दोनों देश प्रशांत महासागर के “रिंग ऑफ फायर” पर स्थित है और यहां अक्सर भूकंप आते रहते हैं.

इस तरह से झेल लिया भूकंप?

“रिंग ऑफ फायर” पर स्थित देशों को अक्सर भूकंप का सामना करना पड़ता है. ऐसे में भूकंप से बचने के लिए यहां पर भूकंपरोधी इमारतें बनाई जाती हैं. ताकि तेज भूकंप के तेज झटकों को ये इमारत झेल सके और इमारत गिरने से मृत्यु, चोट और संपत्ति का नुकसान न हो.

भूकंपरोधी इमारत होने से भूकंप से जो हलचल होती है उसका दबाव नहीं पड़ता और भवन इतनी तीव्रता वाले भूकंप आसानी से झेल लेता है.

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“रिंग ऑफ फायर” पर स्थित देश

रिंग ऑफ फायर ज्वालामुखियों और भूकंपों की एक टेक्टोनिक बेल्ट है.जो कि प्रशांत महासागर से घिरा हुआ है. रिंग ऑफ फायर में 750 से अधिक सक्रिय या निष्क्रिय ज्वालामुखी हैं. बोलीविया, चिली, इक्वाडोर, पेरू, कोस्टा रिका, ग्वाटेमाला, मैक्सिको, जापान, फिलीपींस, इंडोनेशिया, न्यूजीलैंड और अंटार्कटिका रिंग ऑफ फायर में स्थित कुछ महत्वपूर्ण देश है.

(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को The Hindkeshariटीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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