मंदिरों पर हमला… अब बांग्लादेश में 1 करोड़ 30 लाख हिंदुओं का क्या होगा?
नई दिल्ली:
Bangladesh Violence: बांग्लादेश में लगभग 1 करोड़ 30 लाख हिंदू रहते हैं. शेख हसीना के सत्ता से बेदखल होने के बाद बांग्लादेश में ये हिंदू बेहद डरे हुए हैं. बांग्लादेश में हिंदुओं पर हमले हो रहे हैं, हिंदू मंदिरों को निशाना बनाया जा रहा है. ऐसे में सवाल उठ रहा है कि बांग्लादेश में अब हिंदुओं का भविष्य क्या है? बांग्लादेश में कट्टरपंथियों के निशाने पर हमेशा से हिंदू रहे हैं. जमात-ए-इस्लामी पार्टी के कई नेताओं पर हिंदुओं को प्रताड़ित करने के मामले दर्ज हैं. अब यही पार्टी बांग्लादेश की नई सरकार का हिस्सा बनने जा रही है. ऐसे में हिंदू समुदाय की चिंताएं और बढ़ गई हैं.
22 से 8.5 प्रतिशत रह गई हिंदू आबादी
राज्यसभा में मंगलवार को बांग्लादेश मुद्दे पर बोलते हुए विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने बताया कि वहां हिंदू अल्पसंख्यकों को निशाना बनाया जा रहा है. हिंदुओं की आबादी बांग्लादेश में लगातार घटती रही है. पूर्वी बंगाल (पूर्वी पाकिस्तान) के लिए 1951 में की गई आधिकारिक जनगणना के अनुसार, यहां कुल आबादी में हिंदू 22 प्रतिशत थे. 1991 में यह आबादी घटकर 15 प्रतिशत रह गई थी. साल 2011 की जनगणना में यह संख्या सिर्फ 8.5 प्रतिशत रह गई. वहीं, मुस्लिम आबादी यहां लगातार बढ़ रही है. 1951 में मुस्लिमों की संख्या कुल जनसंख्या का 76 प्रतिशत था, जो अब बढ़कर 91 फीसदी हो गई है. इसके बावजूद हिंदू, बांग्लादेश में सबसे बड़ा धार्मिक अल्पसंख्यक समुदाय है.
धार्मिक उत्पीड़न का शिकार हिंदू
बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार लंबे समय से होता रहा है. हिंदुओं के साथ अत्याचार की ऐसी-ऐसी घटनाएं बांग्लादेश से सामने आई हैं, जिन्हें सुनकर डर लगता है. हिंदू लड़कियों से रेप के अनगिनत मामले सामने आ चुके हैं. हिंदू अमेरिकन संस्था की रिपोर्ट के मुताबिक, साल 1964 और 2013 के बीच, 1 करोड़ से ज्यादा हिंदू धार्मिक उत्पीड़न के कारण बांग्लादेश से भाग गए. इस रिपोर्ट में चौंकाने वाली बात यह भी सामने आई है कि हर साल 2 लाख से ज्यादा हिंदू बांग्लादेश छोड़कर चले जाते हैं. वहीं, डीडब्ल्यू की एक रिपोर्ट अनुसार, 2011 की जनगणना से पता चला कि 2000 से 2010 के बीच बांग्लादेश की आबादी से दस लाख हिंदू गायब हो गए हैं और कहीं भी इस बात का मुद्दा नहीं बना.
शेख हसीना के राज में भी कम नहीं हुआ था हिंदुओं पर उत्पीड़न
बांग्लादेश में 5 अगस्त 2024 तक प्रधानमंत्री शेख हसीना के नेतृत्व में ‘धर्मनिरपेक्ष’ अवामी लीग सरकार सत्ता में थी और वो भी बीते 15 वर्षों से… फिर भी हिंदुओं पर होने वाला धार्मिक उत्पीड़न कम नहीं हुआ. अब आप सोच सकते हैं कि जब शेख हसीना सत्ता से बाहर हो गई हैं और उनकी धुर विरोधी कट्टरपंथी पार्टियां मिलकर सरकार बनाने जा रही हैं, तो हिंदुओं के साथ धार्मिक उत्पीड़न का स्तर कितना बढ़ जाएगा, इसकी सिर्फ कल्पना करके दिल सिहर जाता है. इसका ट्रैलर दिखना भी शुरू हो गया है. बांग्लादेश के हालात लगातार बिगड़ रहे हैं. लोगों को निशाना बनाया जा रहा है. निशाने पर हिंदू मंदिर और सांस्कृतिक केंद्र भी हैं.
चार हिंदू मंदिरों में तोड़फोड़
बांग्लादेश की राजधानी में सोमवार को उपद्रवी भीड़ ने एक भारतीय सांस्कृतिक केंद्र में तोड़फोड़ की और देशभर में चार हिंदू मंदिरों को नुकसान पहुंचाया. प्रत्यक्षदर्शियों और समुदाय के नेताओं ने यह जानकारी दी. हिंदू-बौद्ध-ईसाई एकता परिषद की नेता काजोल देबनाथ ने कहा कि उन्हें खबर मिली है कि देशभर में कम से कम चार हिंदू मंदिरों को नुकसान पहुंचाया गया. प्रधानमंत्री शेख हसीना के पद से इस्तीफा देने के बाद उत्पन्न तनावपूर्ण स्थिति को लेकर हिंदू समुदाय के ज्यादातर नेता चिंतित हैं. प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, बांग्लादेश की राजधानी के धानमंडी इलाके में स्थित इंदिरा गांधी सांस्कृतिक केंद्र (आईजीसीसी) और बंगबंधु स्मारक संग्रहालय को एक उपद्रवी भीड़ ने सोमवार को क्षतिग्रस्त कर दिया. ‘ढाका ट्रिब्यून’ अखबार की खबर के अनुसार, सोमवार दोपहर प्रदर्शनकारियों ने ढाका में कई प्रमुख स्थानों पर आगजनी की, जिसमें धानमंडी 32 स्थित बंगबंधु भवन भी शामिल है, जिसे बंगबंधु स्मारक संग्रहालय के रूप में भी जाना जाता है.
बंगाल आएंगे एक करोड़ शरणार्थी : सुवेंदु अधिकारी
बांग्लादेश में जारी हिंसा के बीच पश्चिम बंगाल विधानसभा में विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने चौंकाने वाला बयान दिया है. सुवेंदु अधिकारी ने कहा, “कुछ ही दिनों में एक करोड़ हिंदू शरणार्थी पश्चिम बंगाल आने वाले हैं. इसलिए आप तैयार रहें. बांग्लादेश में हिंदुओं का नरसंहार हो रहा है. रंगपुर में नगर परिषद के पार्षद हरधन नायक की हत्या कर दी गई. सिराजगंज के थाने में 13 पुलिसकर्मियों की हत्या कर दी गई. इनमें 9 हिंदू हैं. वहीं, नोआखली में हिंदुओं के घर जला दिए गए. मैं पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और राज्यपाल से यही कहूंगा कि वे तुरंत इस मामले को लेकर भारत सरकार से बात करें.”
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