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Cash For Query Case: महुआ मोइत्रा केस में आचार समिति कल संसद में पेश कर सकती है रिपोर्ट

महुआ मोइत्रा केस में कल आचार समिति पेश कर सकती है रिपोर्ट (फाइल फोटो)

नई दिल्ली:

संसद में रिश्वत लेकर सवाल पूछने के मामले में घिरीं टीएमसी सासंद महुआ मोइत्रा (Mahua Moitra Cash For Query Case) ) की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. लोकसभा की आचार समिति कल यानी कि शुक्रवार को अपनी रिपोर्ट दे सकती है. संसद का शीतकालीन सत्र 4 दिसंबर से शुरू हो गया है, आचार समिति की रिपोर्ट सदन में पेश किए जाने के लिए सूचीबद्ध है, लेकिन अब तक इसको पेश नहीं किया गया है. कल सदन में महुआ पर आचार समिति अपनी रिपोर्ट पेश कर सकती है.

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महुआ मोइत्रा के निष्कासन संबंधी अचार समिति की रिपोर्ट पहले 5 दिसंबर को लोकसभा में पेश होने की उम्मीद जताई गई थी.  महुआ के मुद्दे पर सदन की कार्यवाही के दौरान जमकर हंगामा भी हुआ. महुआ मोइत्रा के मुद्दे पर आज लोकसभा में जमकर हंगामा हुआ. दरअसल महुआ मोइत्रा को ‘रिश्वत लेकर सवाल पूछने’ के मामले में सदन से निष्कासित करने की अनुशंसा की गई थी. लोकसभा सचिवालय द्वारा प्रसारित कार्य सूची के मुताबिक, आचार समिति के अध्यक्ष विनोद कुमार सोनकर समिति की रिपोर्ट सदन के पटल पर रखेंगे.

विपक्षी सदस्यों ने रिपोर्ट को कहा “फिक्स्ड मैच”

समिति ने 9 नवंबर को एक बैठक में “धन लेकर प्रश्न पूछने” के आरोप पर महुआ मोइत्रा को लोकसभा से निष्कासित करने की सिफारिश करते हुए अपनी रिपोर्ट तैयार की थी. कमेटी के छह सदस्यों ने रिपोर्ट के पक्ष में मतदान किया था. इनमें कांग्रेस सांसद परनीत कौर भी शामिल थीं, जिन्हें पहले पार्टी से निलंबित कर दिया गया था. विपक्षी दलों से संबंधित पैनल के चार सदस्यों ने असहमति नोट पेश किए थे. विपक्षी सदस्यों ने रिपोर्ट को “फिक्स्ड मैच” करार दिया था. बीजेपी के लोकसभा सदस्य निशिकांत दुबे की ओर से दायर शिकायत की समिति ने समीक्षा की थी. महुआ मोइत्रा को तभी निष्कासित किया जा सकता है जब सदन पैनल की सिफारिश के पक्ष में वोट करे.

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महुआ पर बिजनेसमैन से घूस लेने का आरोप

बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के वकील जय अनंत देहाद्राई ने भी शिकायत दर्ज कराई थी, जिन्होंने आरोप लगाया था कि मोइत्रा ने संसद में सवाल पूछने के लिए व्यवसायी दर्शन हीरानंदानी से रिश्वत ली थी. देहाद्राई ने बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे को भी इस बारे में लिखा था और दुबे की शिकायत के आधार पर स्पीकर ओम बिरला ने मामले को एथिक्‍स कमेटी को भेज दिया था. साथ ही दुबे ने लोकपाल में भी शिकायत दर्ज कराई थी.

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