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पंजाब से 10 दिवसीय विपश्यना सत्र के बाद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल दिल्ली लौटे

केजरीवाल को आबकारी नीति से जुड़े धन शोधन मामले में तीन जनवरी को पूछताछ के लिए प्रवर्तन निदेशालय के समक्ष पेश होना है.

खास बातें

  • केजरीवाल राष्ट्रीय राजधानी लौट आए हैं
  • उन्होंने जयपुर, नागपुर, धर्मकोट और बेंगलुरु में यह अभ्यास किया था
  • सोशल मीडिया पर किया पोस्ट

नई दिल्ली/होशियारपुर:

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) ने शनिवार को कहा कि वह पंजाब के होशियारपुर (Hoshiarpur) जिले से अपना दस दिवसीय विपश्यना (Vipassana) ध्यान सत्र पूरा करने के बाद राष्ट्रीय राजधानी लौट आए हैं और फिर से लोगों की सेवा करना शुरू करेंगे. केजरीवाल को आबकारी नीति से जुड़े धन शोधन मामले में तीन जनवरी को पूछताछ के लिए प्रवर्तन निदेशालय के समक्ष पेश होना है.

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सोशल मीडिया पर किया पोस्ट

दिल्ली के मुख्यमंत्री 20 दिसंबर को होशियारपुर से करीब 11 किलोमीटर दूर आनंदगढ़ स्थित धम्म धज विपश्यना केंद्र (डीडीवीसी) पहुंचे थे. उन्होंने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘दस दिनों की विपश्यना साधना के बाद आज वापस लौटा. इस साधना से असीम शांति मिलती है. नयी ऊर्जा के साथ आज से फिर जनता की सेवा में लगेंगे. सबका मंगल हो.”

ध्यान केंद्र से प्रस्थान करने से पहले केजरीवाल को डीडीवीसी के न्यासी गौतम लाल ने सम्मानित किया. यह पहली बार था जब केजरीवाल ने पंजाब में विपश्यना का अभ्यास किया. इससे पहले उन्होंने जयपुर, नागपुर, धर्मकोट और बेंगलुरु में यह अभ्यास किया था.

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विपश्यना आत्म-अवलोकन के माध्यम से आत्म-परिवर्तन के लिए ध्यान की एक प्राचीन भारतीय पद्धति है, जिसमें मन और शरीर के बीच गहन अंतर्संबंध पर ध्यान केंद्रित किया जाता है. ध्यान के दौरान केजरीवाल को केंद्र के नियमों का पालन करना था, जिसमें मोबाइल फोन, इंटरनेट, टेलीविजन और समाचार पत्रों के उपयोग से परहेज करना शामिल था.

डीडीवीसी के प्रवक्ता ने कहा कि उनकी दिनचर्या सुबह चार बजे शुरू होती थी और रात साढ़े नौ बजे समाप्त होती थी. इस दौरान वह साधारण भोजन करते थे और उन्हें दोपहर के बाद भोजन की अनुमति नहीं थी.

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(इस खबर को The Hindkeshariटीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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