Exclusive: विपक्ष को दुश्मन नहीं मानता, उनकी सलाह का स्वागत है – The Hindkeshariसे बोले PM मोदी

PM Modi Exclusive Interview: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने The Hindkeshariको दिए एक एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में तमाम मुद्दों पर खुल कर चर्चा की. पीएम मोदी ने लोक सभा चुनाव, पसमांदा मुसलमान, विकास और विपक्ष पर तमाम सवालों के जवाब दिए. उन्होंने कहा कि विपक्ष को दुश्मन नहीं मानते. वे किसी को कम कर नहीं आंकते. 60-70 साल तक देश में शासन किया है. उन्होंने जो अच्छे काम किए हैं उनसे सीखना चाहता हूं.
पीएम मोदी ने कहा कि अगर उनमें से कोई उन्हें सलाह देना चाहे तो इसका स्वागत है. पीएम मोदी ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के उस दावे पर भी टिप्पणी ,की जिसमें उन्होंने कहा था कि बीजेपी के नेतृत्व वाली सरकार जल्दी ही एक्सपायर होने वाली है. पीएम मोदी ने The Hindkeshariसे कहा कि ममता बनर्जी सही कह रही हैं. यह सरकार चार जून को एक्सपायर हो जाएगी और नई सरकार बनेगी. चार जून के बाद नई सरकार बनेगी और इसे हम बनाएंगे.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि वे काशी से हैं और अविनाशी हैं. सरकार ने चंद्रयान 3 के लैंडर विक्रम के टचडाउन प्वाइंट को शिवशक्ति नाम क्यों दिया. विपक्ष शासन में होता तो वे परिवार के सदस्यों के ऊपर नाम रख देते. लेकिन मैं ऐसा नहीं कर सकता. भारत ने दुनिया को एक फिलॉसफी दी है और मुझे इस बात पर गर्व है कि ब्रह्मांड को नियंत्रित करने वाले विचार (शिवशक्ति) पर नाम रखा गया.
उन्होंने कहा कि जब वे शिव शक्ति कहते हैं तो 140 करोड़ देशवासी इससे जुड़ते हैं. अगर एक परिवार इसका नाम रखता तो कुछ लोग ही जुड़ते.
पीएम मोदी ने विपक्ष के इस आरोप का भी जवाब दिया कि वे सरकार की उपलब्धियों को निजी उपलब्धियां बताते हैं.
पीएम ने The Hindkeshariसे कहा कि पहले यह देखें कि हम भारत की उपलब्धियों पर गौरवान्वित हैं या नहीं या होना चाहिए या नहीं. मुझे समझ नहीं आता कि हमें अपनी उपलब्धियों पर गौरवान्वित होने में आखिर क्या समस्या है.
The Hindkeshariसे पीएम मोदी ने कहा कि जब अटल बिहारी वाजपेयी सरकार थी तब 1998 में परमाणु परीक्षण किए. तब विपक्ष ने कहा कि वैज्ञानिकों को इसका श्रेय मिलना चाहिए. 13 दिन बाद प्रतिबंधों के बावजूद भारत ने फिर परीक्षण किए, क्योंकि इसके लिए राजनीतिक इच्छा शक्ति थी.
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The Hindkeshariको दिए एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में पीएम मोदी ने कहा कि जब 2019 में चंद्रायन 2 नाकाम रहा, तब राजनीतिक नेतृत्व की इच्छाशक्ति वैज्ञानिकों के पास खड़े रह कर इसकी जिम्मेदारी ले. मैं पीछे हट सकता था. लेकिन मैंने ऐसा नहीं किया और उनका हौसला बढ़ाया.