भगवान जगन्नाथ ने BJP का करा दिया बेड़ा पार, भविष्यवाणी हुई सच
भारतीय जनता पार्टी के लिए लोकसभा चुनाव 2024 कई मायनों में बेहद खास रहा. कई राज्यों में बीजेपी के लिए नई राहें खुली हैं. बीजेपी को सबसे ज्यादा ओडिशा में फायदा हुआ है, जहां लोकसभा और विधानसभा दोनों में पार्टी की बंपर जीत हुई है. अगर कहें कि भगवान जगन्नाथ ने इन लोकसभा चुनाव में बीजेपी का बेड़ा पार लगाने में अहम भूमिका निभाई, तो अतिशयोक्ति नहीं होगा. ओडिशा में कुल 21 लोकसभा सीटें हैं, जिनमें से बीजेपी ने 20 पर जीत दर्ज की है. सिर्फ 1 सीट कांग्रेस के हाथ लगी है. वहीं, नवीन पटनायक की बीजू जनता दल का सूपड़ा ही साफ हो गया है. बीजेडी को लोकसभा की एक भी सीट नहीं मिली. शायद यही वजह रही कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोकसभा चुनाव की मतगणना के बाद भाजपा मुख्यालय में दिये भाषण की शुरुआत ‘जय जगन्नाथ’ से की.
‘जय जगन्नाथ, जय जगन्नाथ…’, मतगणना के बाद पीएम मोदी ने भाजपा मुख्यालय से अपने भाषण की शुरुआत इन्हीं शब्दों के साथ की. पीएम मोदी ने देश की जनता का धन्यवाद दिया कि उन्हें तीसरी बार सरकार बनाने का मौका दिया. एनडीए के खाते में इस बार 293 सीटें आई हैं और देश में फिर एक बार मोदी सरकार बनने जा रही है. हालांकि, बीजेपी बहुमत के आंकड़े 272 से कुछ पीछे रह गई है, लेकिन देश में फिर एक बार एनडीए के सरकार बनने जा रही है. बीजेपी के खाते में इस बार 240 सीटें आई हैं. वहीं, कांग्रेस ने 99 सीटों पर जीत दर्ज की है. देश में तीसरी सबसे बड़ी पार्टी समाजवादी पार्टी रही, जिसे 37 सीटें मिली हैं.
सच साबित हुई गृह मंत्री अमित शाह की भविष्यवाणी
भारतीय जनता पार्टी को इस बार दक्षिण के राज्यों से काफी उम्मीदें थी. इधर, पूर्व में ओेडिशा पर भी बीजेपी ने काफी फोकस किया था. पीएम मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने उम्मीद जताई थी कि इस बार ओडिशा में बीजेपी काफी अच्छा प्रदर्शन करेगी. The Hindkeshariको दिये इंटरव्यू में अमित शाह ने कहा था, “ओडिशा में 17 लोकसभा सीटें और 75 विधानसभा सीटें जीतने का लक्ष्य हमारा तय है. हम इसी लक्ष्य को हासिल करने के लिए आगे बढ़ रहे हैं.” बीजेपी ने लोकसभा और विधानसभा दोनों जगह इससे बेहतर ही प्रदर्शन किया है. शायद, ही किसी अन्य दल को ये भरोसा होगा कि बीजेपी, नवीन पटनायक के किले को फतेह कर सकती है, जो पिछले 25 सालों से ओडिशा में सत्ता पर कायम हैं.
जगन्नाथ ने लगाया बेड़ा पार, BJD का सूपड़ा साफ
ओडिशा लोकसभा चुनाव में बीजू जनता दल का सूपड़ा साफ हो गया है. ऐसा शायद ही किसी ने सोचा होगा कि ओडिशा में नवीन पटनायक की पार्टी को एक भी सीट नहीं मिलेगी और बीजेपी लगभग सभी सीटों पर जीत दर्ज कर लेगी. ओडिशा लोकसभा चुनाव में बीजेपी ने सभी को चौंकाते हुए 20 सीटों पर जीत दर्ज की है. वहीं, एक सीट कांग्रेस की झोली में गई है. बीजेपी का वोट प्रतिशत 45 से ऊपर रहा. बीजेपी ओडिशा की इन्हीं 20 सीटों की बदौलत 240 के आंकड़े तक पहुंच पाई है. अगर ओडिशा में बीजेपी का प्रदर्शन ऐसा नहीं होता, तो स्थिति कुछ उलट हो सकती थी. हालांकि, भगवान जगन्नाथ ने बीजेपी का बेड़ा पार लगा दिया.
24 साल बाद बीजेडी सत्ता से बाहर
बीजेपी ने ओडिशा में नवीन पटनायक को सत्ता से बाहर कर नया कीर्तिमान स्थापित किया है. ओडिशा की 147-सदस्यीय विधानसभा के लिए हुए चुनाव में भारतीय जनता पार्टी 78 सीटें जीत कर प्रदेश में पिछले 24 वर्षों से शासन कर रहे बीजद को बेदखल कर सत्ता छीन ली है. मुख्यमंत्री और बीजद प्रमुख नवीन पटनायक हिंजिली विधानसभा सीट से जीत गये, लकिन कांटाबांजी से चुनाव हार गये हैं. कांग्रेस ने 14 सीटें जीतीं जबकि माकपा को एक सीट मिली. इसके अनुसार, निर्दलीय उम्मीदवारों ने तीन सीटें जीतीं.
बीजद ने 2019 के विधानसभा चुनाव में 113 सीटें, भाजपा ने 23 सीटें और कांग्रेस ने नौ सीटें जीती थीं. दिलचस्प यह है कि दोनों दलों के बीच सीट बंटवारे पर बातचीत इस साल के लोकसभा और विधानसभा चुनावों से पहले भी शुरू हुई थी, लेकिन यह विफल रही. हालांकि, इस बार बीजद सुप्रीमो अपनी पार्टी को जीत नहीं दिला पाए.
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