महाकुंभ भगदड़ : 30 श्रद्धालुओं की मौत, 60 जख्मी; जानिए कैसे हुआ हादसा
नई दिल्ली/प्रयागराज:
उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ में मंगलवार की आधी रात मची भगदड़ में 30 लोगों की जान जा चुकी है. कुल 90 लोग घायल हुए थे. 60 घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है. मृतकों में 25 लोगों की पहचान की गई है. मेला प्रशासन ने भगदड़ के करीब 17 घंटे बाद बुधवार शाम को प्रेस कॉन्फ्रेंस करके मृतकों और घायलों का आंकड़ा जारी किया है. इस दौरान प्रेस कॉन्फ्रेंस में DIG महाकुंभ नगर मेला क्षेत्र वैभव कृष्ण ने बताया कि आखिर संगम तट पर भगदड़ कैसे मच गई थी.
DIG वैभव कृष्ण ने बताया, “मंगलवार रात 1 से 2 बजे के बीच बहुत भीड़ हो गई थी. कुछ श्रद्धालु मौनी अमावस्या पर ब्रम्ह मुहूर्त में अमृत स्नान के लिए संगम तट पर ही सोए हुए थे. मेले में बैरिकेड्स लगे हैं. घाट पर कुछ बैरिकेड्स टूट गए, जिसकी वजह से जमीन पर सो रहे कुछ श्रद्धालु अफरातफरी में चढ़ गए. कुचलने से जो घायल हो गये, उनमें से कुछ की मौत हो गई.”
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DIG महाकुंभ नगर ने बताया, “29 जनवरी को शासन ने सख्त निर्देश दिए थे कि कोई भी VIP प्रोटोकाल नहीं होगा. कोई VIP प्रोटोकाल इंटरटेन नहीं किया गया.” इससे पहले लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने महाकुंभ में VIP प्रोटोकॉल पर सवाल उठाए थे. राहुल गांधी ने कहा था, “सरकार को VIP मूवमेंट कल्चर पर लगाम कसनी चाहिए. महाकुंभ के शेष दिनों के लिए व्यवस्था में सुधार करना चाहिए.”
#WATCH | Prayagraj, UP: DIG Mahakumbh, Vaibhav Krishna says “Before Brahma Muhurta, between 1 am to 2 am, a huge crowd gathered on the Akhara Marg. Due to this crowd, the barricades on the other side broke and the crowd ran over the devotees waiting to take a holy dip of Brahma… pic.twitter.com/ZL6KlmMf9k
— ANI (@ANI) January 29, 2025
वहीं, मेलाधिकारी विजय किरण आनंद ने कहा कि जो श्रद्धालु आएं हैं, उन्हें वापस भेजने के लिए तत्परता से काम कर रहे हैं. मेला प्रशासन ने 1920 हेल्पलाइन नंबर जारी किया है.
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इतने मौतों की क्या हो सकती है वजह?
दरअसल, मौनी अमावस्या के अमृत स्नान की वजह से ज्यादातर पांटून पुल बंद थे. इस कारण संगम पर लाखों की भीड़ इकट्ठा होती चली गई. ज्यादातर श्रद्धालु जल्दी स्नान करने के लिए संगम तट पर ही भोर होने का इंतजार कर रहे थे. इस दौरान बैरिकेड्स में फंसकर कुछ लोग गिर गए. यह देखकर भगदड़ मच गई. दूसरी ओर, संगम नोज पर एंट्री और एग्जिट के रास्ते अलग-अलग नहीं थे. ऐसे में जब भगदड़ मची तो भागने का मौका नहीं मिला.
अखाड़ा परिषद ने अमृत स्नान करने से कर दिया था इनकार
भगदड़ के बाद अखाड़ा परिषद ने अमृत स्नान करने से इनकार कर दिया था. हालांकि, बाद में हालात सामान्य होने के बाद अखाड़ों ने तय किया कि वह अमृत स्नान में शामिल होंगे. स्नान के लिए संगम में साधु-संतों पर हेलीकॉप्टर से पुष्प वर्षा की गई. सभी 13 अखाड़ों ने अमृत स्नान किया.
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प्रयागराज आने वाले 8 एंट्री पॉइंट बंद
प्रयागराज में बुधवार को 9 करोड़ से ज्यादा लोग पहुंचे. श्रद्धालुओं का संगम तट पर आना लगातार जारी है. भीड़ को कंट्रोल करने के लिए मेला प्रशासन ने प्रयागराज आने वाले 8 एंट्री पॉइंट को बंद कर दिया है:-
– भदोही- वाराणसी बॉर्डर पर 20 किलोमीटर का लंबा जाम लगा है.
– चित्रकूट बॉर्डर पर भी जाम है.
-कौशांबी बॉर्डर पर 50 हजार से ज्यादा गाड़ियों को रोका गया है. यहां 5 घंटे से जाम लगा हुआ है.
-फतेहपुर-कानपुर बॉर्डर पर भी जाम देखा जा रहा है.य
-प्रतापगढ़ बॉर्डर पर 40 हजार वाहनों को रोका गया.
– जौनपुर बॉर्डर पर प्रयागराज जाने वाली सभी बसों को रोका गया है.
-मिजापुर बॉर्डर पर भी लंबा जाम लगा है.
-रीवा बॉर्डर पर भी गाड़ियों को रोका गया है.
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