The Hindkeshariवर्ल्ड समिट: कुणाल ने बताया कैसे US ने नहीं दिया वीजा और फिर खड़ा कर दिया साम्राज्य
Kunal Bahl Success Story: जिंदगी किसी की आसान नहीं होती. हर किसी को अपने हिस्से की मेहनत करनी होती और उसी हिसाब से सफलता मिलती है. The Hindkeshariवर्ल्ड समिट में ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म स्नैपडील के को-फाउंडर कुणाल बहल (Kunal Bahl) ने अपनी जिंदगी के उन पन्नों से पर्दा हटाया, जिसे बहुत कम लोग ही जानते होंगे. आज उनकी सफलता को देखने वाले सोच भी नहीं सकते होंगे कि उन्हें भी कई बार असफलता हाथ लगने के बाद ही सफलता का स्वाद चखने को मिली. कुणाल बहल ने बताया कि उनकी जिंदगी में ऐसी कई चीजें हुईं, जो मेरी योजना के अनुसार नहीं थी, लेकिन उन्होंने मुझे उस रास्ते पर ला दिया जो मेरे लिए बेहतर था. मैं आईआईटी में नहीं गया, लेकिन मुझे एक अच्छे कॉलेज में दाखिला मिल गया.इसने वास्तव में मुझे खिलने में मदद की.
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— The HindkeshariIndia (@ndtvindia) October 22, 2024
कुणाल बहल ने कहा कि जब आईआईटी (IIT) में दाखिला नहीं मिला तो उस समय ऐसा महसूस होता है कि मैं असफल हो गया, क्योंकि समाज आपको इसी तरह महसूस कराएगा. मुझे लगता है कि यदि आप उस रसातल से बाहर आ सके और बस आगे बढ़ने के लिए थोड़ा सा साहस जुटा सके तो जिंदगी कोई और मोड़ पर पहुंचा ही देगी. मुझे वह दिन याद है, जब मेरा आईआईटी में दाखिला नहीं हुआ. मेरे परिवार में हर कोई वास्तव में परेशान था. मैं गया और 3 घंटे क्रिकेट खेला.फिर जहां मैंने छोड़ा था, वहीं से शुरू किया.
स्नैपडील के को-फाउंडर ने बताया कि पढ़ाई के बाद वे अमेरिका (US) में माइक्रोसॉफ्ट में काम करने लगे. उन्होंने एच1बी वीजा के लिए आवेदन किया था.उन्होंने सोचा था कि वह आगे कुछ वर्षों तक अमेरिका में रहेंगे.वहां एक कंपनी शुरू करेंगे.एक दिन वह अपने कार्यालय में बैठा थे, तभी उन्हें एक ईमेल मिला, जिसमें कहा गया था कि आपका एच1बी वीजा खारिज कर दिया गया है. आपको देश छोड़ना होगा और इस तरह मैं वापस आया और एक उद्यमी के रूप में अपनी यात्रा शुरू . इसलिए मुझे लगता है कि अगर आप कड़ी मेहनत ईमानदारी के साथ काम करते रहेंगे तो अंततः कुछ समय बाद सफलता आपका पीछा करेगी.