दुनिया

क्‍या है वो ब्रह्मास्त्र, जो राष्‍ट्रपति की कुर्सी पर बैठते ही अमेरिका से दागेंगे डोनाल्‍ड ट्रंप


वाशिंगटन:

डोनाल्‍ड ट्रंप के हाथों में दूसरी बार अमेरिका की सुपर पावर आने वाली है. क्‍या ट्रंप के सत्‍ता में आने के बाद ग्लोबल ऑर्डर बदल जाएंगे…? इसे लेकर दुनिया के कई देशों में खलबली मची हुई है. फिर डोनाल्‍ड ट्रंप ने भी 100 एक्‍जीक्‍यूटिव ऑर्डर और बाइडेन प्रशासन के कई फैसलों को पलटने की बात कहकर हलचल बढ़ा दी है. ये हलचल सिर्फ अमेरिका में ही नहीं, दुनियाभर के देशों में देखने को मिल रही है. डोनाल्‍ड ट्रंप, राष्‍ट्रपति की कुर्सी पर बैठते ही जो ‘ब्रह्मास्‍त्र’ छोड़ेंगे, उससे पूरी दुनिया प्रभावित होगी. क्‍या भारत पर भी इसका असर पड़ेगा..?
     

100 से ज्‍यादा एक्‍जीक्‍यूटिव आदेशों पर करेंगे हस्‍ताक्षर 

डोनाल्‍ड ट्रंप ने पहले ही बता दिया है कि वह राष्‍ट्रपति की कुर्सी पर बैठते ही एक्‍शन मोड में आ जाएंगे, खलबली मचा देंगे. रिकॉर्ड फैसले लेंगे, जिससे अमेरिका में एक नया सूरज निकलेगा. ट्रंप की टीम ने पूरी योजना बना रखी है, सिर्फ ट्रंप के 35 शब्‍दों की शपथ ग्रहण करने की जरूरत है. राष्‍ट्रपति भवन व्‍हाइट हाउस में एंट्री लेते ही ट्रंप 100 से ज्‍यादा एक्‍जीक्‍यूटिव आदेशों पर हस्‍ताक्षर करेंगे. एक्‍जीक्‍यूटिव आदेश को अमेरिका में ‘ब्रह्मास्‍त्र’ की तरह माना जाता है, क्‍योंकि ये कानून की तरह शक्ति रखते हैं और इनके लिए कांग्रेस (अमेरिकी संसद) की अनुमति लेने की जरूरत नहीं होती है.  

अमेरिका से भारत, चीन के लिए अच्‍छी खबर… 

डोनाल्ड ट्रंप के एक्‍जीक्‍यटिव आदेश जारी करने को लेकर कई देशों में भले ही खलबली है, लेकिन भारत और चीन के लिए अच्‍छी खबर है. ट्रंप शपथ ग्रहण करने के बाद सबसे पहले भारत और चीन जाने की योजना बना रहे हैं. मीडिया में शनिवार को आई एक खबर में यह जानकारी दी गई. हालांकि, ट्रंप ने अपने चुनाव प्रचार के दौरान चीन पर अतिरिक्त शुल्क लगाने की चेतावनी दी थी. लेकिन ‘द वॉल स्ट्रीट जर्नल’ ने अपनी खबर में बताया, ‘ट्रंप ने सलाहकारों से कहा है कि वह पदभार संभालने के बाद चीन की यात्रा पर जाना चाहते हैं, ताकि प्रचार के दौरान चीन को दी गई अधिक शुल्क लगाने संबंधी चेतावनी के कारण शी चिनफिंग के साथ तनावपूर्ण हुए संबंधों को सुधारा जा सके.’ 

यह भी पढ़ें :-  कनाडा में ट्रूडो का गेम ओवर! भारत के लिए यह गुड न्यूज क्यों है, समझिए

Latest and Breaking News on NDTV

क्‍या होते हैं एक्‍जीक्‍यूटिव ऑर्डर?

डोनालड ट्रंप ने एनबीसी न्‍यूज को दिये इंटरव्‍यू में बताया कि वह पहले दिन कार्यकारी आदेशों पर रिकॉर्ड संख्या में हस्ताक्षर करने की योजना बना रहे हैं. अमेरिका के राष्‍ट्रपति को कुछ एक्‍जीक्‍यूटिव पावर मिलती है, जिन्‍हें वह जब चाहे इस्‍तेमाल कर सकते हैं. एक्‍जीक्‍यूटिव ऑर्डर यानी कार्यकारी आदेश अमेरिका के राष्ट्रपति द्वारा एकतरफा जारी किये गए आदेश होते हैं. ये ऐसे आदेश हैं, जो किसी कानून की तरह शक्ति रखते हैं. किसी विधेयक को पारित करने के लिए तो संसद के दोनों सदनों में उसे पेश किया जाता है, उसके बाद उसे कानून के रूप में लागू किया जाता है. लेकिन कार्यकारी आदेश जारी करने के लिए कांग्रेस की मंजूरी की जरूरत भी नहीं होती है. यहां तक कि अमेरिकी संसद इन कार्यकारी आदेशों को पलट भी नहीं सकती है. हालांकि, इन्‍हें कोर्ट में चुनौती जरूर दी जा सकती है. 

ये भी पढ़ें :- कितनी सैलरी, अलाउंस, बॉडीगार्ड… राष्ट्रपति की कुर्सी पर बैठते ही ट्रंप को क्या क्या सुविधाएं मिलेंगी



Show More

संबंधित खबरें

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button